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तख्तापलट के बाद बांग्लादेश को अमेरिकी सहायता, जानिए इसके पीछे की राजनीति

तख्तापलट के बाद बांग्लादेश को अमेरिकी सहायता, जानिए इसके पीछे की राजनीति
बांग्लादेश में हाल ही में हुए राजनीतिक उथल-पुथल के बाद, अंतर्राष्ट्रीय मंच पर कई शक्तिशाली देशों की नज़रें इस छोटे से देश पर टिकी हुई हैं। तख्तापलट के बाद नई अंतरिम सरकार के प्रमुख मोहम्मद यूनुस ने जब अंतरराष्ट्रीय सहायता की गुहार लगाई, तब सबसे पहले अमेरिका ने बांग्लादेश को सहायता देने का वादा किया। इस आर्थिक मदद के पीछे बांग्लादेश के बिगड़ते आर्थिक हालात और क्षेत्रीय स्थिरता को बनाए रखने की इच्छा शामिल है।

बांग्लादेश की आर्थिक स्थिति और अमेरिकी सहायता

बांग्लादेश की राजनीतिक उथल-पुथल के साथ-साथ देश की अर्थव्यवस्था भी एक कठिन दौर से गुजर रही है। मोहम्मद यूनुस ने हाल ही में अपने टेलीविजन संबोधन में कहा कि बांग्लादेश को आर्थिक स्थिरता के लिए कम से कम 5 बिलियन डॉलर की अंतरराष्ट्रीय सहायता की ज़रूरत है। ऐसे में अमेरिका ने बांग्लादेश को 202 मिलियन डॉलर की अतिरिक्त आर्थिक सहायता देने का ऐलान किया। यह सहायता बांग्लादेश की सामाजिक और आर्थिक स्थिति को सुधारने के लिए दी जा रही है।

यह पहली बार नहीं है जब अमेरिका ने बांग्लादेश की मदद की है। इससे पहले भी अमेरिका ने 425 मिलियन डॉलर की सहायता दी थी, जो बांग्लादेश की अर्थव्यवस्था को उबारने में मददगार साबित हुई थी।

अमेरिका और बांग्लादेश के बीच संबंध

अमेरिका और बांग्लादेश के बीच संबंध हमेशा से ही सकारात्मक रहे हैं। जब से बांग्लादेश की राजनीतिक स्थिति अस्थिर हुई है, तब से अमेरिका का ध्यान इस देश पर अधिक केंद्रित हो गया है। हाल ही में अमेरिकी प्रतिनिधि मंडल ने ढाका पहुंचकर बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के प्रमुख से मुलाकात की और इस आर्थिक सहायता की घोषणा की। डोनाल्ड लू, जो दक्षिण एशिया मामलों के सहायक सचिव हैं, ने इस बैठक में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। डोनाल्ड लू का नाम पहले भी पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान द्वारा उनके देश के तख्तापलट में जोड़ा गया था।

तख्तापलट के बाद बांग्लादेश में हालात

बांग्लादेश में तख्तापलट के बाद से वहां की स्थिति काफी अस्थिर है। अंतरिम सरकार के पास समय कम है और चुनौतियाँ अधिक। शेख हसीना की सरकार के सत्ता से हटने के बाद से देश में शांति व्यवस्था बनाए रखना और आर्थिक स्थिरता लाना एक बड़ा मुद्दा बन गया है। यूक्रेन-रूस युद्ध के कारण बांग्लादेश की अर्थव्यवस्था और भी कठिन दौर से गुजर रही है, क्योंकि ईंधन और खाद्य आयात की कीमतें बढ़ गई हैं।

अमेरिकी दूतावास का बयान

बांग्लादेश में अमेरिकी दूतावास ने एक बयान जारी करते हुए कहा कि अमेरिका बांग्लादेश की सरकार का हर संभव समर्थन करेगा ताकि वहां सामाजिक और आर्थिक स्थिति बेहतर हो सके। इस बयान में यह भी कहा गया कि अमेरिका बांग्लादेश को सुशासन और मानवीय मूल्यों को बढ़ावा देने में मदद करेगा।

तख्तापलट में अमेरिका की भूमिका?

बांग्लादेश में हाल ही में हुए तख्तापलट को लेकर कई सवाल उठाए जा रहे हैं। कई रिपोर्ट्स में यह दावा किया गया है कि अमेरिका ने इस तख्तापलट में अहम भूमिका निभाई। शेख हसीना ने कुछ समय पहले अपने एक बयान में कहा था कि एक बड़ा पश्चिमी देश बांग्लादेश से एक द्वीप की मांग कर रहा था और धमकी दी थी कि अगर यह मांग पूरी नहीं की गई तो उनकी सरकार को सत्ता से हटा दिया जाएगा। यह बयान अमेरिकी प्रतिनिधि मंडल की यात्रा के समय आया, जिसने तख्तापलट की अटकलों को और बढ़ा दिया।

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