COVID-19 Cases Rise: नवी मुंबई, जो अपनी सुनियोजित सड़कों और आधुनिक बुनियादी ढांचे के लिए जाना जाता है, एक बार फिर स्वास्थ्य संकट के दौर से गुजर रहा है। पिछले चार दिनों में कोविड-19 मामले (COVID-19 Cases) में अचानक वृद्धि ने नवी मुंबई नगर निगम (NMMC) को सतर्क कर दिया है। 26 से 29 मई 2025 तक, शहर में 19 नए कोविड-19 मामले (COVID-19 Cases) सामने आए हैं, जिसके बाद प्रशासन ने अस्पतालों की तैयारियों को तेज कर दिया है। नवी मुंबई नगर निगम (Navi Mumbai Municipal Corporation) ने इस खतरे को नियंत्रित करने के लिए कई कदम उठाए हैं, ताकि वायरस का प्रसार रोका जा सके। यह स्थिति न केवल निवासियों के लिए चिंता का विषय है, बल्कि यह भी बताती है कि महामारी का खतरा अभी पूरी तरह टला नहीं है।
यह सब तब शुरू हुआ जब मई के आखिरी सप्ताह में नवी मुंबई के विभिन्न इलाकों से कोविड-19 के नए मरीजों की खबरें आने लगीं। NMMC के मेडिकल हेल्थ ऑफिसर डॉ. प्रशांत जावड़े ने बताया कि 29 मई 2025 तक कुल 62 टेस्ट किए गए, जिनमें 60 RT-PCR और 2 रैपिड एंटीजन टेस्ट शामिल थे। इनमें से 62 लोग पॉजिटिव पाए गए, जिनमें से चार को क्वारंटाइन किया गया और बाकी को अस्पताल में भर्ती किया गया। राहत की बात यह है कि कोई भी मरीज गंभीर हालत में नहीं है। डॉ. जावड़े ने कहा कि अभी यह स्पष्ट नहीं है कि ये मामले किस वैरिएंट से जुड़े हैं, लेकिन जांच जारी है। इस खबर ने शहरवासियों को सतर्क कर दिया, क्योंकि पिछले कुछ महीनों में कोविड-19 के मामले लगभग शून्य हो गए थे।
नवी मुंबई नगर निगम के आयुक्त डॉ. कैलास शिंदे ने स्थिति की गंभीरता को समझते हुए तुरंत कार्रवाई शुरू की। उन्होंने एक समीक्षा बैठक में अतिरिक्त आयुक्त सुनील पवार और अन्य अधिकारियों के साथ चर्चा की। इस बैठक में डॉ. शिंदे ने सभी तीन नगर निगम अस्पतालों में कोविड-19 वार्ड (COVID-19 Ward) स्थापित करने के निर्देश दिए। साथ ही, उन्होंने यह सुनिश्चित करने को कहा कि दवाइयां, PPE किट, ऑक्सीजन, और सर्जिकल उपकरण जैसे जरूरी संसाधन हमेशा उपलब्ध रहें। यह कदम इसलिए महत्वपूर्ण है क्योंकि नवी मुंबई में पहले भी कोविड-19 की लहरों ने स्वास्थ्य व्यवस्था को चुनौती दी थी। 2021 में, जब शहर में एक दिन में 1,441 मामले दर्ज किए गए थे, तब NMMC ने अपनी तत्परता से स्थिति को नियंत्रित किया था।
डॉ. शिंदे ने यह भी जोर दिया कि जनता में जागरूकता फैलाना जरूरी है। उन्होंने विभिन्न मीडिया चैनलों के माध्यम से लोगों से अपील की कि वे व्यक्तिगत स्वच्छता का ध्यान रखें और आधिकारिक स्रोतों से ही जानकारी लें। सर्दी, खांसी या फ्लू जैसे लक्षणों वाले लोगों को तुरंत नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र में जांच कराने की सलाह दी गई। यह अपील इसलिए भी महत्वपूर्ण है, क्योंकि सोशल मीडिया पर अफवाहें और गलत जानकारी तेजी से फैलती हैं, जिससे लोग भयभीत हो सकते हैं। NMMC ने स्पष्ट किया कि सभी मरीजों की स्थिति स्थिर है, और घबराने की कोई जरूरत नहीं है। फिर भी, सावधानी बरतना जरूरी है, क्योंकि महाराष्ट्र में हाल ही में 86 नए मामले दर्ज किए गए, जिनमें से चार नवी मुंबई से थे।
नवी मुंबई में कोविड-19 का इतिहास रहा है। 2020 में, जब पहला मामला मार्च में सामने आया था, तब शहर ने सख्त लॉकडाउन और कॉन्टैक्ट ट्रेसिंग के जरिए वायरस को नियंत्रित किया था। 2021 की दूसरी लहर में, जब एक दिन में 1,536 मामले सामने आए, NMMC ने 13 कोविड सेंटर स्थापित किए और 96.97% रिकवरी दर हासिल की। लेकिन इस बार स्थिति अलग है। मामले भले ही कम हैं, लेकिन नए वैरिएंट्स की आशंका ने प्रशासन को सतर्क कर दिया है। डॉ. शिंदे ने टेस्टिंग क्षमता बढ़ाने के निर्देश दिए हैं, ताकि शुरुआती स्तर पर ही मरीजों की पहचान हो सके। वाशी, नेरूल, और बेलापुर के अस्पतालों में विशेष कोविड-19 वार्ड तैयार किए जा रहे हैं, और मेडिकल स्टाफ को हाई अलर्ट पर रखा गया है।
नवी मुंबई के निवासियों में इस खबर से चिंता बढ़ी है। वाशी के रहने वाले राजेश लिझे जैसे लोग, जो 2020 में स्वास्थ्य सुविधाओं तक पहुंचने में दिक्कतों का सामना कर चुके हैं, अब फिर से चिंतित हैं। दूसरी ओर, NMMC ने भरोसा दिलाया है कि इस बार स्थिति को संभालने के लिए वे पूरी तरह तैयार हैं। अस्पतालों में बेड्स की संख्या बढ़ाई जा रही है, और CIDCO प्रदर्शनी केंद्र जैसी सुविधाओं को फिर से सक्रिय करने की योजना है। यह वही केंद्र है, जो दूसरी लहर के दौरान कोविड मरीजों के लिए मुख्य उपचार स्थल था।
यह स्थिति नवी मुंबई के लिए एक सबक भी है। 2020 में तबलीगी जमात से जुड़े मामलों ने शहर को हिलाकर रख दिया था, जब 22 मामले एक ही घटना से जुड़े थे। इस बार, NMMC ने पहले ही कॉन्टैक्ट ट्रेसिंग शुरू कर दी है ताकि वायरस का प्रसार रोका जा सके। डॉ. जावड़े ने बताया कि सभी पॉजिटिव मरीजों के संपर्क में आए लोगों की जांच की जा रही है, और जरूरत पड़ने पर उन्हें क्वारंटाइन किया जाएगा। यह कदम इसलिए जरूरी है, क्योंकि कोविड-19 का प्रसार तेजी से हो सकता है, खासकर घनी आबादी वाले इलाकों में।
नवी मुंबई की स्वास्थ्य व्यवस्था ने पहले भी चुनौतियों का सामना किया है। 2022 में, जब मामले 200 के पार पहुंचे, NMMC ने वॉर रूम शुरू किया था ताकि मरीजों की निगरानी की जा सके। इस बार भी प्रशासन ने उसी तत्परता को दिखाने का फैसला किया है। डॉ. शिंदे ने कहा कि उनकी प्राथमिकता लोगों की सुरक्षा और स्वास्थ्य है। उन्होंने यह भी अपील की कि लोग मास्क पहनें, सामाजिक दूरी बनाए रखें, और बिना जरूरत के भीड़ में न जाएं। यह संदेश खासकर युवाओं के लिए महत्वपूर्ण है, जो अक्सर लापरवाही बरतते हैं।
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