मुंबई

WAVES 2025 में पीएम मोदी ने की युवा क्रियेटर्स की जमकर तारीफ, बोले – अर्थव्यवस्था में ला रहे नई वेव

WAVES 2025
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WAVES 2025: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 1 मई 2025 को मुंबई में आयोजित WAVES शिखर सम्मेलन 2025 (World Audio Visual & Entertainment Summit) में भारत की क्रिएटिविटी और ऑरेंज इकोनॉमी के उज्ज्वल भविष्य पर जोर दिया। इस वैश्विक मंच पर उन्होंने कहा कि भारत में इस समय क्रिएटिविटी की एक नई लहर चल रही है, जो देश की अर्थव्यवस्था को नई ऊंचाइयों तक ले जा सकती है। आइए, इस ब्लॉग में जानते हैं कि पीएम मोदी ने इस शिखर सम्मेलन में क्या-क्या कहा और ये भारत के लिए क्यों महत्वपूर्ण है।

WAVES: क्रिएटिविटी और कल्चर का ग्लोबल मंच
WAVES शिखर सम्मेलन सिर्फ एक आयोजन नहीं, बल्कि क्रिएटिविटी, कल्चर और यूनिवर्सल कनेक्शन की एक लहर है। पीएम मोदी ने कहा, “यहां मुंबई में 100 से अधिक देशों के आर्टिस्ट, इनोवेटर्स, इनवेस्टर्स और नीति निर्माता एक छत के नीचे एकत्र हुए हैं। ये ग्लोबल टैलेंट और क्रिएटिविटी के इको-सिस्टम की नींव है।”

WAVES हर उस कलाकार और क्रिएटर के लिए एक मंच है, जो अपने नए आइडियाज को दुनिया के सामने लाना चाहता है। ये शिखर सम्मेलन भारत को ‘क्रिएट इन इंडिया, क्रिएट फॉर द वर्ल्ड’ के मंत्र को साकार करने का अवसर प्रदान करता है।

भारतीय सिनेमा का गौरवशाली इतिहास
1 मई को मई दिवस के साथ-साथ भारतीय सिनेमा के इतिहास को भी याद किया गया। पीएम मोदी ने बताया कि 112 साल पहले 3 मई 1913 को भारत की पहली फीचर फिल्म ‘राजा हरिश्चंद्र’ रिलीज हुई थी, जिसके निर्माता दादासाहेब फाल्के थे। उनकी जन्मजयंती के अवसर पर भारतीय सिनेमा के योगदान को याद करते हुए पीएम ने कहा कि बीते एक सदी में भारतीय सिनेमा ने दुनिया के हर कोने में अपनी छाप छोड़ी है।

इस मौके पर भारतीय सिनेमा के दिग्गजों को डाक टिकटों के माध्यम से सम्मानित भी किया गया। आज भारतीय फिल्में 100 से अधिक देशों में रिलीज हो रही हैं, और विदेशी दर्शक सबटाइटल्स के साथ भारतीय कंटेंट का आनंद ले रहे हैं।

ऑरेंज इकोनॉमी: कंटेंट, क्रिएटिविटी और कल्चर
पीएम मोदी ने भारत में उभरती ऑरेंज इकोनॉमी (रचनात्मक अर्थव्यवस्था) को देश के भविष्य का आधार बताया। उन्होंने कहा, “ऑरेंज इकोनॉमी की तीन धुरी हैं: कंटेंट, क्रिएटिविटी और कल्चर।” भारत सरकार क्रिएटर्स के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ी है ताकि ये लहर और मजबूत हो।

उन्होंने ये भी कहा कि भारत के पास हजारों वर्षों की कहानियों का खजाना है, जो न केवल समयातीत हैं, बल्कि विचारोत्तेजक और वैश्विक स्तर पर प्रासंगिक भी हैं। ये खजाना भारत को वैश्विक स्टोरीटेलिंग में अग्रणी बनाने की क्षमता रखता है।

‘क्रिएट इन इंडिया, क्रिएट फॉर द वर्ल्ड’ का समय
पीएम मोदी ने जोर देकर कहा कि अब समय है भारत में रचनात्मकता को बढ़ावा देने और दुनिया के लिए कंटेंट तैयार करने का। उन्होंने कहा, “जब दुनिया नए तरीकों से कहानियां सुनाने के रास्ते तलाश रही है, तब भारत के पास अपनी समृद्ध सांस्कृतिक विरासत और कहानियों का भंडार है।”

WAVES जैसे मंच इस दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम हैं, जो भारतीय क्रिएटर्स को ग्लोबल कोलाबरेशन और अवसर प्रदान करते हैं। पीएम ने ये भी विश्वास जताया कि सभी क्रिएटर्स के सामूहिक प्रयासों से WAVES आने वाले वर्षों में नई ऊंचाइयों को छूएगा।

WAVES 2025 का वैश्विक प्रभाव
अपने पहले ही संस्करण में WAVES ने दुनिया का ध्यान अपनी ओर खींचा है। पीएम मोदी ने इसे एक उद्देश्यपूर्ण मंच बताया, जो भारत की क्रिएटिव क्षमताओं को वैश्विक स्तर पर प्रदर्शित करता है। उन्होंने कहा, “लाल किले से मैंने ‘सबका प्रयास’ की बात कही थी। आज WAVES में आप सभी का योगदान देखकर मेरा ये विश्वास और मजबूत हुआ है।”

भारत की क्रिएटिव लहर का भविष्य
WAVES शिखर सम्मेलन 2025 ने भारत को क्रिएटिविटी और ऑरेंज इकोनॉमी के क्षेत्र में एक वैश्विक लीडर के रूप में स्थापित करने की दिशा में एक बड़ा कदम उठाया है। पीएम मोदी का ये संदेश कि ‘क्रिएट इन इंडिया, क्रिएट फॉर द वर्ल्ड’ का समय आ गया है, हर क्रिएटर के लिए प्रेरणा है।

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