Maharashtra Job Drive: महाराष्ट्र की सियासत और सरकारी तंत्र में इन दिनों एक बड़ी हलचल है। मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने विधानसभा में एक ऐसी घोषणा की है, जो लाखों युवाओं के लिए सुनहरा मौका लेकर आ रही है। उन्होंने बताया कि सरकार जल्द ही मेगा भर्ती शुरू करने जा रही है। यानी, विभिन्न विभागों में खाली पड़ी नौकरियों को भरने के लिए एक बड़ा अभियान चलाया जाएगा। इस मेगा भर्ती का रास्ता साफ करने के लिए सरकार ने 150 दिन का एक खास प्लान बनाया है, जिसमें विभागों की संरचना को दुरुस्त करना, भर्ती नियमों को अपडेट करना और अनुकंपा आधारित नियुक्तियों को पूरा करना शामिल है।
ये बात तब सामने आई, जब विधायक भीमराव केरम ने विधानसभा में अनुसूचित जनजाति भर्ती को लेकर सवाल उठाया। उन्होंने पूछा कि अनुसूचित जनजाति (ST) श्रेणी के खाली पदों को कब भरा जाएगा। इसके जवाब में फडणवीस ने कहा कि सरकार ने पहले 75,000 पदों की भर्ती का ऐलान किया था, लेकिन अब तक एक लाख से ज्यादा पदों पर नियुक्तियां हो चुकी हैं। फिर भी, कई विभागों में खाली पदों का आंकड़ा साफ करने के लिए 150 दिन का यह खास कार्यक्रम शुरू किया गया है। इसके बाद मेगा भर्ती का रास्ता खुलेगा, जिसमें हजारों युवाओं को सरकारी नौकरी का मौका मिलेगा।
अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित पदों का मामला भी चर्चा में रहा। फडणवीस ने बताया कि 6,860 ऐसे पद हैं, जो अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित हैं, लेकिन इन पर कार्यरत कर्मचारियों के पास वैध जाति प्रमाणपत्र नहीं हैं। ये कर्मचारी 20 साल से ज्यादा समय से काम कर रहे हैं, फिर भी उनके प्रमाणपत्रों की कमी ने सरकार के सामने मुश्किल खड़ी कर दी थी। इस समस्या का हल निकालते हुए सरकार ने इन पदों को सुपरन्यूमेरेरी यानी अतिरिक्त मान लिया है। इसका मतलब है कि इन कर्मचारियों को उनकी नौकरी में बनाए रखा जाएगा, लेकिन उन्हें प्रमोशन नहीं मिलेगा। जैसे ही ये कर्मचारी रिटायर होंगे, उनके पद खाली माने जाएंगे और इन्हें आरक्षण नियमों के तहत भरा जाएगा। इनमें से 1,343 पदों पर अनुसूचित जनजाति भर्ती के तहत योग्य उम्मीदवारों को पहले ही नियुक्त किया जा चुका है, और बाकी पदों को भरने की प्रक्रिया चल रही है।
इतना ही नहीं, सरकार अब जाति प्रमाणपत्रों की जांच को और आसान करने जा रही है। इसके लिए ब्लॉकचेन तकनीक का इस्तेमाल होगा, जिससे दस्तावेजों की जांच तेज और पारदर्शी होगी। फडणवीस ने बताया कि एक खास सचिव समूह बनाया जाएगा, जो जाति प्रमाणपत्रों की वैधता को जल्दी और साफ-सुथरे तरीके से जांचेगा। ये कदम न सिर्फ प्रक्रिया को तेज करेगा, बल्कि भर्ती में पारदर्शिता भी लाएगा।
एक और बड़ी खबर ये है कि सुप्रीम कोर्ट ने सफाई कर्मचारियों की नौकरियों को वंशानुगत आधार पर भरने की रोक हटा दी है। यानी, अब सफाई कर्मचारियों के परिवार वाले उनकी जगह नौकरी पा सकेंगे। ये फैसला लाड-पागे समिति की सिफारिशों के आधार पर लागू होगा। फडणवीस ने ये भी बताया कि लोक निर्माण विभाग में अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित पदों की भर्ती भी जल्द शुरू होगी।
इस मेगा भर्ती की घोषणा ने महाराष्ट्र के युवाओं में एक नई उम्मीद जगाई है। पहले से ही एक लाख से ज्यादा नौकरियां दे चुकी सरकार अब और बड़े पैमाने पर भर्तियां करने की तैयारी में है। खासकर अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित पदों को भरने और जाति प्रमाणपत्रों की जांच को आसान बनाने की दिशा में उठाए गए कदम दिखाते हैं कि सरकार इस बार कोई कसर नहीं छोड़ना चाहती।





























