पहलगाम आतंकी हमला: 22 अप्रैल 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए भीषण आतंकी हमले ने पूरे देश को झकझोर दिया। इस हमले में 26 लोगों की जान गई और प्रारंभिक जांच में पाकिस्तानी आतंकियों की संलिप्तता के सबूत मिले। इसके बाद भारत सरकार ने राष्ट्रीय सुरक्षा को मजबूत करने के लिए कई सख्त कदम उठाए। आइए, जानते हैं कि सरकार ने क्या-क्या निर्णय लिए और इसका क्या असर हुआ।
पाकिस्तानी वीजा रद्द और बॉर्डर बंद
आतंकी हमले के बाद सुरक्षा मामलों की कैबिनेट कमेटी ने तत्काल बैठक की और पाकिस्तानी नागरिकों के वीजा रद्द करने का फैसला लिया। साथ ही, अटारी-वाघा बॉर्डर को अस्थायी रूप से बंद कर दिया गया। सरकार ने स्पष्ट किया कि मेडिकल वीजा धारकों को छोड़कर सभी पाकिस्तानी नागरिकों को 27 अप्रैल तक भारत छोड़ना होगा। मेडिकल वीजा धारकों को 29 अप्रैल तक की छूट दी गई है।
जानकारी हो कि रविवार तक 537 पाकिस्तानी नागरिक भारत छोड़ चुके हैं, जबकि 1,387 भारतीय नागरिक पाकिस्तान से स्वदेश लौटे।
कानूनी कार्रवाई की चेतावनी
भारत सरकार ने सख्त रुख अपनाते हुए कहा कि जो पाकिस्तानी नागरिक समय सीमा के बाद भी भारत में रहेंगे, उनके खिलाफ इमिग्रेशन और फॉरेनर्स एक्ट-2025 के तहत कार्रवाई होगी। इसमें तीन साल तक की जेल, तीन लाख रुपये तक का जुर्माना, या दोनों सजा शामिल हो सकती हैं।
पाकिस्तानी राजनयिकों की संख्या में कटौती
भारत ने पाकिस्तानी उच्चायोग में तैनात अधिकारियों की संख्या भी कम कर दी है। अब तक 13 पाकिस्तानी राजनयिक और अधिकारी भारत छोड़कर वापस लौट चुके हैं। सरकार ने स्पष्ट किया कि राष्ट्रीय सुरक्षा से कोई समझौता नहीं होगा।
वीजा समाप्ति की समय सीमा
- सार्क वीजा धारक: 26 अप्रैल तक।
- अन्य वीजा: 27 अप्रैल तक।
- मेडिकल वीजा: 29 अप्रैल तक।
गृह मंत्रालय का सख्त निर्देश
गृह मंत्रालय ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को पाकिस्तानी नागरिकों की पहचान करने और उन्हें समय पर भारत छोड़ने के लिए सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। गृह मंत्री अमित शाह ने मुख्यमंत्रियों से व्यक्तिगत रूप से बात की, जबकि गृह सचिव ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए राज्यों के मुख्य सचिवों और पुलिस प्रमुखों के साथ चर्चा की।
सरकारी सूत्रों के मुताबिक, समय सीमा के बाद भी भारत में रहने वाले पाकिस्तानी नागरिकों को डिपोर्ट किया जा सकता है या उनके खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई होगी। सरकार ने इस मुद्दे पर किसी भी ढिलाई से इनकार किया है। ये कदम भारत की राष्ट्रीय सुरक्षा को और मजबूत करने की दिशा में एक बड़ा कदम है।
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