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पन्हाला किले पर बनेगा शिवाजी का भव्य स्मारक: डिप्टी सीएम एकनाथ शिंदे ने दी मंजूरी

एकनाथ शिंदे
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महाराष्ट्र की राजनीति और इतिहास के लिए मंगलवार का दिन बेहद खास रहा। महाराष्ट्र विधानभवन में उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में एक महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई, जिसमें कोल्हापुर जिले के विधायकों और लाखों शिव प्रेमियों की सालों पुरानी मांग को हरी झंडी मिल गई। इस बैठक में डिप्टी सीएम एकनाथ शिंदे ने पन्हाला किले पर छत्रपति शिवाजी महाराज के स्मारक निर्माण के लिए 10 करोड़ रुपये की निधि को मंजूरी दी। ये निर्णय न केवल ऐतिहासिक महत्व रखता है, बल्कि शिवाजी महाराज के प्रति सम्मान और उनके गौरव को बढ़ाने वाला कदम भी है। आइए, इस खबर को विस्तार से समझते हैं।

पन्हाला किले का ऐतिहासिक महत्व
पन्हाला किला छत्रपति शिवाजी महाराज के जीवन का एक अहम हिस्सा रहा है। स्वयं शिवाजी महाराज ने इस किले पर 133 दिनों तक निवास किया था। इतिहास में इस किले का विशेष स्थान है, क्योंकि ये कई महत्वपूर्ण घटनाओं का गवाह रहा है। सिद्धि जौहर द्वारा पन्हाला की घेराबंदी, बाजीप्रभु देशपांडे और बंदाल सेना का बलिदान, और स्वराज्य के दूसरे छत्रपति संभाजी महाराज का निवास स्थान जैसी घटनाएं इस किले को ऐतिहासिक रूप से समृद्ध बनाती हैं। इसके बावजूद, किले पर शिवाजी महाराज की कोई प्रतिमा या स्मारक नहीं था, जिसके चलते शिव प्रेमी और स्थानीय लोग लंबे समय से इसकी मांग कर रहे थे।

10 करोड़ की मंजूरी: एक नई शुरुआत
उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने नगर विकास विभाग के माध्यम से पन्हाला किले पर शिव स्मारक के लिए 10 करोड़ रुपये की निधि को मंजूरी दी है। इस निर्णय के साथ ही शासन का आदेश तुरंत जारी कर दिया गया और संबंधित विधायकों को सौंपा गया। यह कदम कोल्हापुर के विधायकों के अथक प्रयासों का नतीजा है, जिन्होंने इस मांग को बार-बार उठाया और इसे पूरा करने के लिए मेहनत की। इस स्मारक के निर्माण से न केवल शिवाजी महाराज के गौरवशाली इतिहास को सम्मान मिलेगा, बल्कि यह स्थान पर्यटन के लिहाज से भी महत्वपूर्ण बन जाएगा।

पहले भी हुई थी कोशिश, लेकिन रुका था काम
ये पहली बार नहीं है जब पन्हाला किले पर शिव स्मारक बनाने की बात उठी हो। इससे पहले तत्कालीन वित्त मंत्री अजित पवार ने इस कार्य के लिए 5 करोड़ रुपये की निधि स्वीकृत की थी। योजना के अनुसार, किले पर स्थित तालाब के बीच में एक चौथरा बनाकर उस पर स्मारक स्थापित किया जाना था। लेकिन कुछ कारणों से ये काम पूरा नहीं हो सका और योजना अधर में लटक गई। अब एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में इस प्रोजेक्ट को नया जीवन मिला है।

विधायकों के प्रयास रंग लाए
कोल्हापुर के विधायक चंद्रदीप नरके, राजेश क्षीरसागर और प्रकाश आबीटकर ने इस मांग को दोबारा जोर-शोर से उठाया। इन विधायकों ने न केवल इस मुद्दे को विधानभवन तक पहुंचाया, बल्कि इसके लिए लगातार प्रयास भी किए। उनकी मेहनत आखिरकार रंग लाई और उपमुख्यमंत्री ने इस मांग को पूरा करने का फैसला लिया। यह निर्णय कोल्हापुर के लोगों के लिए गर्व का क्षण है, क्योंकि यह न केवल उनके इतिहास को संजोएगा, बल्कि आने वाली पीढ़ियों को भी शिवाजी महाराज के बलिदान और शौर्य से प्रेरणा देगा।

पन्हाला किले पर शिव स्मारक का निर्माण न सिर्फ एक स्मारक होगा, बल्कि ये छत्रपति शिवाजी महाराज के गौरव और महाराष्ट्र के समृद्ध इतिहास का प्रतीक भी बनेगा। 10 करोड़ रुपये की मंजूरी के साथ ये सपना अब हकीकत की ओर बढ़ रहा है। कोल्हापुर के विधायकों और उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के इस प्रयास से शिव प्रेमियों की वर्षों पुरानी इच्छा पूरी होने जा रही है। ये कदम महाराष्ट्र के इतिहास और संस्कृति को नई ऊंचाइयों तक ले जाएगा।

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