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सड़कों का राजा कौन? राष्ट्रीय राजमार्ग और जीटी रोड के बीच का अनोखा फर्क

सड़कों का राजा कौन? राष्ट्रीय राजमार्ग और जीटी रोड के बीच का अनोखा फर्क

राष्ट्रीय राजमार्ग और जीटी रोड के बीच का अंतर: भारत में सड़कों का जाल किसी नस-नाड़ियों की तरह है, जो देश के हर कोने को जोड़ता है। इन सड़कों में दो नाम बहुत मशहूर हैं – राष्ट्रीय राजमार्ग और जीटी रोड (National Highway and GT Road)। आइए, इन दोनों के बारे में जानें और समझें कि ये एक-दूसरे से कैसे अलग हैं।

राष्ट्रीय राजमार्ग: आधुनिक भारत की जीवनरेखा

राष्ट्रीय राजमार्ग, जिसे हम NH या नेशनल हाईवे भी कहते हैं, भारत की आधुनिक सड़क व्यवस्था का मुख्य हिस्सा है। ये सड़कें देश के एक कोने से दूसरे कोने तक फैली हुई हैं।

राष्ट्रीय राजमार्ग की खास बातें:

  1. ये सड़कें भारत सरकार द्वारा बनाई और संभाली जाती हैं।
  2. इनका नंबर होता है, जैसे NH-1, NH-2 आदि।
  3. ये कई राज्यों से होकर गुजरती हैं और बड़े शहरों को जोड़ती हैं।
  4. इनकी देखभाल भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) करता है।

राष्ट्रीय राजमार्गों का महत्व:

  • ये देश के आर्थिक विकास में बड़ी भूमिका निभाते हैं।
  • इनसे यात्रा का समय कम होता है और सामान की ढुलाई आसान हो जाती है।
  • ये दूर-दराज के इलाकों को मुख्य शहरों से जोड़ते हैं।

जीटी रोड: इतिहास की सड़क

जीटी रोड यानी ग्रैंड ट्रंक रोड भारत की सबसे पुरानी और ऐतिहासिक सड़कों में से एक है। इसे कभी-कभी सड़कों की रानी भी कहा जाता है।

जीटी रोड की खास बातें:

  1. यह दिल्ली से कोलकाता तक जाती है, जो करीब 2500 किलोमीटर लंबी है।
  2. इसका इतिहास मुगल काल तक जाता है, जब इसे शेरशाह सूरी ने बनवाया था।
  3. अंग्रेजों के समय में इसका नाम ग्रैंड ट्रंक रोड रखा गया।
  4. यह उत्तर भारत के कई महत्वपूर्ण शहरों को जोड़ती है।

जीटी रोड का महत्व:

  • यह भारत के इतिहास और संस्कृति का एक जीता-जागता उदाहरण है।
  • इसने सदियों से व्यापार और यात्रा को आसान बनाया है।
  • आज भी यह उत्तर भारत के लिए एक महत्वपूर्ण मार्ग है।

राष्ट्रीय राजमार्ग और जीटी रोड में क्या अंतर है?

  1. उम्र का फर्क: जीटी रोड सदियों पुरानी है, जबकि ज्यादातर राष्ट्रीय राजमार्ग आजादी के बाद बने हैं।
  2. प्रबंधन: राष्ट्रीय राजमार्गों की देखभाल केंद्र सरकार करती है, जबकि जीटी रोड के हिस्से अब राज्य सरकारों के अधीन हैं।
  3. लंबाई और फैलाव: राष्ट्रीय राजमार्ग पूरे देश में फैले हैं, जबकि जीटी रोड सिर्फ कुछ राज्यों से गुजरती है।
  4. नंबरिंग सिस्टम: राष्ट्रीय राजमार्गों के नंबर होते हैं, लेकिन जीटी रोड का कोई औपचारिक नंबर नहीं है।

दोनों का मिलन: आधुनिक समय में जीटी रोड के कई हिस्से राष्ट्रीय राजमार्गों में बदल दिए गए हैं। अब इसके कुछ हिस्से NH-1, NH-2 और NH-91 के नाम से जाने जाते हैं।

भविष्य की राह

भारत में सड़कों का विकास तेजी से हो रहा है। नए-नए राष्ट्रीय राजमार्ग बन रहे हैं, और पुराने मार्गों को भी नया रूप दिया जा रहा है। जीटी रोड जैसी ऐतिहासिक सड़कों को भी आधुनिक जरूरतों के हिसाब से अपग्रेड किया जा रहा है।

इन सड़कों से न सिर्फ यात्रा आसान हुई है, बल्कि रोजगार के नए मौके भी बने हैं। गांव-गांव तक अच्छी सड़कें पहुंचने से लोगों को बाजार और अस्पताल जैसी जरूरी सुविधाएं आसानी से मिल रही हैं।

राष्ट्रीय राजमार्ग और जीटी रोड (National Highway and GT Road) दोनों ही अपने-अपने तरीके से भारत के विकास में योगदान दे रहे हैं। एक तरफ जहां राष्ट्रीय राजमार्ग आधुनिक भारत की तस्वीर पेश करते हैं, वहीं जीटी रोड हमें अपने गौरवशाली इतिहास से जोड़े रखती है।

इन सड़कों पर चलते हुए हम न सिर्फ एक जगह से दूसरी जगह पहुंचते हैं, बल्कि भारत की विविधता, संस्कृति और विकास की यात्रा भी करते हैं। आने वाले समय में, जैसे-जैसे भारत आगे बढ़ेगा, ये सड़कें भी विकास की नई कहानियां लिखेंगी।

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