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नए आपराधिक कानून: शादी का झांसा देकर संबंध बनाने पर अब क्या सजा होगी? जानें नए नियम

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नया आपराधिक कानून लागू हो गए हैं। इसके तहत किसी महिला को नौकरी का झांसा देकर या शादी का वादा करके संबंध बनाने को रेप की श्रेणी से बाहर कर दिया गया है। जानें नए नियमों में क्या बदलाव हुए हैं।

देश में एक नया आपराधिक न्याय प्रणाली शुरू हो गए हैं। IPC, CRPC और 1972 के इंडियन एविडेंस एक्ट को बदलकर तीन नए कानून लागू हो गए हैं। ये हैं भारतीय न्याय संहिता, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता, और भारतीय साक्ष्य अधिनियम।

नए आपराधिक न्याय प्रणाली का आगमन:

पूरे भारत में तीन नए आपराधिक कानून लागू हो गए हैं। इनसे देश की आपराधिक न्याय प्रणाली में बड़े बदलाव आएंगे। अब क्रिमिनल केस का फैसला सुनवाई पूरी होने के 45 दिनों के अंदर दिया जाएगा। नए कानून में 60 दिनों के अंदर आरोप तय करने का प्रावधान है।

झांसा देकर शारीरिक संबंध:

अगर कोई व्यक्ति किसी महिला को नौकरी का झांसा देकर, आर्थिक लाभ का लालच देकर, या शादी का झूठा वादा करके शारीरिक संबंध बनाता है, तो अब इसे रेप नहीं माना जाएगा। इसके लिए नए कानून में धारा-69 के तहत अलग अपराध बनाया गया है। 18 साल से ऊपर की महिला के साथ शादी का झांसा देकर संबंध बनाना अब रेप की श्रेणी में नहीं आएगा।

रेप के नए कानून और सजा:

नए कानून में गैंग रेप और बलात्कार के लिए धारा 63, 64, और 70 में प्रावधान किया गया है। रेप के लिए धारा 63, रेप की सजा के लिए धारा 64, और गैंग रेप के लिए धारा 70 का प्रावधान है। इन धाराओं के तहत दोषी पाए जाने पर अपराधियों को 10 साल तक की सजा हो सकती है। अब पुलिस अधिकारी रेप पीड़ितों के बयान उनके परिजनों और रिश्तेदारों की मौजूदगी में लेंगे। पीड़िता की मेडिकल रिपोर्ट भी सात दिनों के भीतर पूरी होनी जरूरी है।

पति द्वारा जबरदस्ती संबंध:

नए कानून के तहत अगर कोई पति अपनी पत्नी से जबरदस्ती संबंध बनाता है, तो इसे रेप की श्रेणी में नहीं माना जाएगा। हालांकि, इस कानून को लेकर कई सवाल उठ रहे हैं और यह मामला सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन है। वहीं, 18 साल से कम उम्र की किशोरी के साथ रेप या गैंग रेप के मामलों में फांसी की सजा का प्रावधान है।

इस प्रकार, नए कानूनों में रेप और संबंधित अपराधों को लेकर कई महत्वपूर्ण बदलाव किए गए हैं। यह देखना दिलचस्प होगा कि इन नए प्रावधानों का वास्तविक प्रभाव क्या होगा।

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