वृंदावन के धार्मिक गलियारों में शुक्रवार शाम को उस वक्त हलचल बढ़ गई जब प्रसिद्ध संत प्रेमानंद महाराज को अचानक सीने में तेज़ दर्द की शिकायत हुई। खबर मिलते ही उनके आश्रम में हड़कंप मच गया। आनन-फानन में उनके शिष्य उन्हें लेकर रामकृष्ण मिशन हॉस्पिटल पहुंचे जहां डॉक्टरों ने तुरंत जांच शुरू कर दी।
संत प्रेमानंद महाराज राधावल्लभीय संप्रदाय के प्रमुख संतों में गिने जाते हैं। वृंदावन में भक्तों के लिए वो किसी आध्यात्मिक गुरु से कम नहीं हैं। उनकी सादगी, भजन और प्रवचन बेहद लोकप्रिय हैं। हालांकि, पिछले कुछ समय से वो किडनी की समस्या से जूझ रहे हैं और उनका नियमित डायलिसिस भी होता है।
शाम को संत जी अपने आश्रम में विश्राम कर रहे थे तभी अचानक उन्हें सीने में तेज़ चुभन वाला दर्द शुरू हो गया। ये देखकर, उनके शिष्य घबरा गए और बिना देर किए उन्हें लेकर सीधे अस्पताल पहुंचे। डॉक्टरों ने फौरन उनका ईको टेस्ट और जरूरी जांचें शुरू की। कई तरह की रिपोर्ट्स का इंतज़ार किया गया। भक्तों के मन में तरह-तरह के ख्याल आने लगे, कुछ लोग प्रार्थना भी करने लगे थे। लेकिन फिर राहत की खबर आई – डॉक्टरों ने जांच के बाद बताया कि रिपोर्ट्स नॉर्मल हैं और घबराने की बात नहीं है!
ऐसा बताया जा रहा है कि शायद किडनी की दिक्कत की वजह से घबराहट या एसिडिटी जैसी कोई तकलीफ रही होगी। भगवान का शुक्र है कि मामला ज्यादा गंभीर नहीं निकला। खबर सुनते ही भक्तों ने राहत की सांस ली। ऐसा लगता है कि संत जी स्वस्थ होकर जल्द ही फिर से अपने प्रवचनों से सबको मार्गदर्शन देंगे।
अस्पताल में ये खबर फैलते ही मीडियाकर्मी भी पहुंच गए। कुछ शिष्यों की मीडिया से थोड़ी नोकझोंक भी हुई क्योंकि वो नहीं चाहते थे कि स्वास्थ्य को लेकर कोई गलत खबरें फैलें। बाद में अस्पताल के अधिकारियों ने खुद स्थिति को स्पष्ट किया कि संत जी की हालत स्थिर है।