देश-विदेश

लोकसभा चुनाव 2024 के अंतिम चरण में 8 राज्यों की 57 सीटों पर 9 बजे तक 11.31% वोटिंग: बंगाल के भांगर में बमबारी, जयनगर में EVM की लूट, VVPAT मशीन तालाब में फेंके

लोकसभा चुनाव 2024 के अंतिम चरण में 8 राज्यों की 57 सीटों पर 9 बजे तक 11.31% वोटिंग: बंगाल के भांगर में बमबारी, जयनगर में EVM की लूट, VVPAT मशीन तालाब में फेंके

लोकसभा चुनाव 2024 के अंतिम चरण में, 8 राज्यों की 57 सीटों पर सुबह 9 बजे तक 11.31% मतदान दर्ज किया गया है। इस महत्वपूर्ण चरण में बिहार, चंडीगढ़, हिमाचल प्रदेश, झारखंड, ओडिशा, पंजाब, उत्तर प्रदेश और पश्चिम बंगाल शामिल हैं, जहां लगभग 10.06 करोड़ मतदाता 904 उम्मीदवारों की किस्मत का फैसला करेंगे। हालांकि, कुछ राज्यों में कानून व्यवस्था की स्थिति और मतदान की निष्पक्षता को लेकर चिंताएं उभरी हैं।

पश्चिम बंगाल की घटनाएं: चुनावी गतिविधियों में बाधा
पश्चिम बंगाल के भांगर में बमबारी की घटनाएं सामने आई हैं, जिससे मतदान प्रक्रिया पर प्रभाव पड़ा है। जयनगर में, EVM (इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन) की लूट की खबरें हैं, जो चुनावी प्रक्रिया की सुरक्षा पर गंभीर प्रश्न उठाती हैं। इसके अलावा, VVPAT (वोटर वेरिफाइड पेपर ऑडिट ट्रेल) मशीनों को तालाब में फेंके जाने की घटनाएं भी सामने आई हैं, जो मतदान की पारदर्शिता और विश्वसनीयता को चुनौती देती हैं।

मतदान की सुरक्षा और निष्पक्षता पर संकट
ये घटनाएं चुनावी प्रक्रिया की सुरक्षा और निष्पक्षता पर गंभीर सवाल उठाती हैं। चुनाव आयोग और सुरक्षा बलों को इस तरह की घटनाओं को रोकने और मतदान की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए कड़े कदम उठाने होंगे। यदि इन घटनाओं पर अंकुश नहीं लगाया गया, तो इससे न केवल मतदान प्रक्रिया बल्कि लोकतंत्र की साख पर भी आंच आएगी।

इसके बावजूद, राजनीतिक दलों और मतदाताओं को शांतिपूर्ण और निष्पक्ष मतदान सुनिश्चित करने की जिम्मेदारी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने भी मतदाताओं से बढ़-चढ़कर मतदान में हिस्सा लेने की अपील की है। मतदाताओं को अपने मताधिकार का प्रयोग करने और लोकतंत्र के इस महापर्व में भाग लेने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है।

मतदान के बाद, 4 जून को मतगणना होगी और उसी दिन चुनाव परिणाम घोषित किए जाएंगे। इस चुनाव के परिणाम भारत की राजनीति की दिशा तय करेंगे और देश के भविष्य को आकार देंगे। इसलिए यह आवश्यक है कि चुनावी प्रक्रिया पूरी तरह से निष्पक्ष और पारदर्शी हो।

मतदान के दौरान उत्पन्न होने वाली इन चुनौतियों को देखते हुए, यह आवश्यक है कि चुनाव आयोग, सुरक्षा बल और राजनीतिक दल सतर्क रहें और मतदान की प्रक्रिया को सुरक्षित और निष्पक्ष बनाए रखें। मतदाताओं को भी इन घटनाओं से निराश न होकर अपने लोकतांत्रिक अधिकार का प्रयोग करना चाहिए। केवल एक शांतिपूर्ण और निष्पक्ष चुनावी प्रक्रिया ही देश की राजनीतिक स्थिरता और प्रगति को सुनिश्चित कर सकती है।

ये भी पढ़ें: ‘खिलौना छीन लिया गया हो ऐसे बर्ताव कर रही है कांग्रेस’: एग्जिट पोल बहिष्कार पर भाजपा की प्रतिक्रिया

You may also like