कोरोना का एक नया वेरिएंट KP.2, जिसे FLiRT भी कहा जा रहा है, अमेरिका, ब्रिटेन और दक्षिण कोरिया में बढ़ते मामलों से जुड़ा है। ये वेरिएंट भारत में भी नवंबर 2023 से मौजूद है। क्या ये चिंता की बात है? आइए जानें।
KP.2, कोरोना वायरस के ओमिक्रॉन वंश का एक सब-वेरिएंट है, जो नए म्यूटेशन के साथ आया है। ये वैक्सीन और पिछले संक्रमणों से मिली इम्युनिटी को चकमा देने में माहिर है।
FLiRT क्या है और इसके क्या लक्षण हैं?
FLiRT नाम KP.2 के दो म्यूटेशन पर आधारित है, जो वायरस को एंटीबॉडीज से बचने में मदद करते हैं। इसके लक्षण पहले के वेरिएंट्स जैसे बुखार, खांसी, थकान और पाचन संबंधी समस्याओं के समान हैं।
भारत में KP.2 की स्थिति क्या है?
भारत में INSACOG द्वारा अब तक लगभग 250 KP.2 जीनोम सीक्वेंस किए गए हैं, जिनमें से आधे से ज्यादा महाराष्ट्र से हैं। हालांकि, अभी JN.1 ही देश में प्रमुख वेरिएंट है।
क्या KP.2 गंभीर बीमारी का कारण बन सकता है?
विशेषज्ञों के अनुसार, फिलहाल चिंता की कोई बात नहीं है। KP.2 के लक्षण पहले के वेरिएंट्स के समान हैं और अभी तक ये ज्यादा गंभीर बीमारी का कारण नहीं बना है।
क्या KP.2 संक्रमण बढ़ा सकता है?
हां, FLiRT की ट्रांसमिशन रेट ज्यादा है और इसके संक्रमण चुपचाप फैल सकते हैं क्योंकि इसके लक्षण गंभीर नहीं होते हैं।
कौन हैं सबसे ज्यादा खतरे में?
65 वर्ष से अधिक उम्र के लोग, कमजोर इम्यूनिटी वाले लोग और गर्भवती महिलाएं सबसे ज्यादा खतरे में हैं।
KP.2 से कैसे बचें?
सुरक्षा के उपाय वही हैं जो पहले से बताए जाते रहे हैं – सोशल डिस्टेंसिंग, मास्क पहनना और भीड़भाड़ वाली जगहों से बचना।
क्या हमें बूस्टर डोज लेने की जरूरत है?
ज्यादातर भारतीयों को बूस्टर डोज की जरूरत नहीं है क्योंकि उन्हें पहले ही कई बार संक्रमण हो चुका है। भारत में उपलब्ध ज्यादातर वैक्सीन वायरस के मूल वेरिएंट के लिए हैं, इसलिए अतिरिक्त डोज लेने से कोई खास फायदा नहीं होगा।
KP.2 वेरिएंट के बारे में अभी ज्यादा जानकारी नहीं है, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि फिलहाल घबराने की जरूरत नहीं है। हमें सावधानी बरतनी चाहिए और सुरक्षा के उपायों का पालन करना चाहिए।
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने आने वाले वैक्सीन फॉर्मूलेशन के लिए JN.1 वंश के एंटीजन के उपयोग की सलाह दी है, क्योंकि FLiRT वेरिएंट JN.1 परिवार के भीतर हैं।
ये भी पढ़ें: भारतीय मसालों पर बैन का कितना असर? जानिए क्या है सच्चाई