महाराष्ट्र

मराठा आरक्षण पर गतिरोध जारी, 24 फरवरी से ‘रास्ता रोको’ आंदोलन की चेतावनी

Deadlock Over Maratha Reservation Continues, 'Road Blockade' Protests Threatened from Feb 24
मराठा आरक्षण: महाराष्ट्र में मराठा समुदाय को ‘कुणबी’ कोटे के तहत OBC आरक्षण देने की मांग पूरी न होने पर कार्यकर्ता मनोज जरंगे-पाटिल ने राज्यव्यापी आंदोलन की चेतावनी दी है।

महाराष्ट्र में मराठा आरक्षण का मुद्दा लंबे समय से विवाद का कारण रहा है। राज्य सरकार ने पहले मराठों को सामाजिक और शैक्षिक रूप से पिछड़ा वर्ग (SEBC) के तहत 12%-13% आरक्षण दिया था, जिसे सुप्रीम कोर्ट ने रद्द कर दिया था।  नई सरकार 10% आरक्षण देने का विधेयक पारित कर चुकी है, लेकिन मराठा समुदाय का एक वर्ग OBC कोटे में शामिल किए जाने की मांग कर रहा है।

महाराष्ट्र में मराठा आरक्षण को लेकर गतिरोध जारी है। मराठा आरक्षण के लिए अनशन कर रहे  कार्यकर्ता मनोज जरंगे-पाटिल ने मराठाओं को ओबीसी (OBC) कोटे में शामिल करने के लिए ‘रक्त संबंधियों’ (sage soyare) को कुणबी का दर्जा देने वाली राज्य सरकार की ड्राफ्ट अधिसूचना को लागू करने की माँग की है।

जरंगे-पाटिल ने कहा है कि सरकार ने इस संबंध में अधिसूचना जारी तो की है, लेकिन इसे अब तक लागू नहीं किया है। उन्होंने सरकार को चेतावनी दी है कि यदि दो दिनों के भीतर ड्राफ्ट अधिसूचना को लागू नहीं किया जाता है, तो 24 फरवरी से राज्य भर में अहिंसक ‘रास्ता रोको’ आंदोलन शुरू किया जाएगा।

जरंगे-पाटिल, मराठा समुदाय के सदस्यों से एकजुट होकर आंदोलन में भाग लेने की अपील कर रहे हैं। इसके साथ ही उन्होंने चुनाव के दौरान एक रणनीति अपनाने का भी सुझाव दिया है।

इस बीच, महाराष्ट्र सरकार ने सदन में बताया है कि  OBC के तहत कुणबी कोटे के विस्तार के लिए जारी की गई ड्राफ्ट अधिसूचना पर 6 लाख आपत्तियाँ प्राप्त हुई हैं, जिनकी जाँच की जा रही है।

महाराष्ट्र में मराठा आरक्षण विवाद का अंत निकट भविष्य में होता नहीं दिख रहा है। जरंगे-पाटिल के नेतृत्व में होने वाले आंदोलन से राज्य में राजनीतिक माहौल गरमाने की आशंका है।

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