उत्तर प्रदेश के झांसी में एक दिल दहला देने वाली घटना ने पूरे प्रदेश को झकझोर कर रख दिया है। शुक्रवार की देर रात को झांसी अस्पताल त्रासदी (Jhansi Hospital Tragedy) ने कई परिवारों के सपनों को चकनाचूर कर दिया, जब महारानी लक्ष्मीबाई मेडिकल कॉलेज के नवजात शिशु गहन चिकित्सा कक्ष (NICU) में भीषण आग लग गई। इस दर्दनाक घटना में 10 मासूम बच्चों की जान चली गई।
अग्निकांड की विस्तृत जानकारी
रात साढ़े दस बजे के करीब झांसी अस्पताल त्रासदी (Jhansi Hospital Tragedy) की शुरुआत हुई, जब NICU यूनिट में अचानक आग की लपटें देखी गईं। जिलाधिकारी अविनाश कुमार के अनुसार, यह आग संभवतः शॉर्ट सर्किट की वजह से लगी। NICU में दो यूनिट थीं – एक बाहरी और एक भीतरी। बाहरी यूनिट के अधिकांश बच्चों को बचा लिया गया, लेकिन दुर्भाग्यवश भीतरी यूनिट में फंसे 10 नवजात शिशुओं को नहीं बचाया जा सका।
प्रशासनिक कार्रवाई और जांच
मेडिकल कॉलेज में आग का कहर (Medical College Fire Devastation) के बाद प्रशासन ने तत्काल कार्रवाई की। उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने घटनास्थल का दौरा किया और तीन स्तरीय जांच के आदेश दिए। पहली जांच स्वास्थ्य विभाग द्वारा, दूसरी पुलिस प्रशासन द्वारा, और तीसरी मजिस्ट्रेट स्तर पर होगी। साथ ही अग्निशमन विभाग की टीम भी जांच में शामिल रहेगी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी मामले का संज्ञान लिया और पीड़ित परिवारों के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त की।
#WATCH | UP Deputy CM Brajesh Pathak says, ” The death of the newborns is very unfortunate. Along with the family members, we are trying to identify the bodies of newborns…the first probe will be done at the administrative level which will be done by health department, second… https://t.co/Ohh5fZYnIB pic.twitter.com/mmoyjZXJEY
— ANI (@ANI) November 16, 2024
बचाव कार्य और चिकित्सा सहायता
घटना के तुरंत बाद बचाव दल और मेडिकल स्टाफ तत्परता से कार्य में जुट गए। कई बच्चों को सुरक्षित निकाला गया और झुलसे हुए बच्चों का तत्काल उपचार शुरू किया गया। अस्पताल प्रशासन ने बताया कि फरवरी में अग्नि सुरक्षा ऑडिट किया गया था और जून में मॉक ड्रिल भी की गई थी। अब तक सात नवजात शिशुओं के शवों की पहचान कर ली गई है, जबकि तीन की पहचान अभी बाकी है।
प्रशासन ने मृतक बच्चों के परिवारों को आर्थिक सहायता देने की घोषणा की है। मुख्यमंत्री कार्यालय ने 12 घंटे के भीतर पूरी जांच रिपोर्ट मांगी है। उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने स्पष्ट किया है कि दोषी पाए जाने वाले किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा और कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
#JhansiTragedy #HospitalFire #UPNews #MedicalEmergency #PatientSafety
ये भी पढ़ें: Hydrogen Train: भारत बनेगा 10 कोच की हाइड्रोजन ट्रेन चलाने वाला पहला देश, जनवरी में शुरू हो सकता है ट्रायल