महाराष्ट्र में पहली बार BMS, BBA, BBM, और BCA जैसे कोर्सेज़ में दाखिला लेने के लिए कॉमन एंट्रेंस टेस्ट (CET) हो रहा है। अब तक 46 हज़ार से भी ज़्यादा छात्रों ने इसके लिए रजिस्टर करवा दिया है। लेकिन कई कॉलेज इस नए बदलाव से परेशान हैं।
दरअसल, इस साल से इन कोर्सेज़ को प्रोफेशनल माना जाने लगा है, जिसके लिए AICTE (ऑल इंडिया काउंसिल फॉर टेक्निकल एजुकेशन) की मंजूरी लेनी ज़रूरी होती है। इसीलिए अब दाखिला लेने के लिए एंट्रेंस एग्ज़ाम भी देना होगा।
CET के लिए रजिस्ट्रेशन की आखिरी तारीख 18 अप्रैल थी, लेकिन उसे आगे बढ़ा दिया गया है। एग्ज़ाम मई के आखिर में आयोजित होने वाला है। इस पूरे सिस्टम से कई कॉलेजों को दिक्कत हो रही है क्योंकि अब उन्हें प्रोफेशनल कोर्सेज़ के नियमों के अनुसार इंफ्रास्ट्रक्चर और टीचर्स रखने होंगे। उनका कहना है कि कई कॉलेज ये खर्च उठाने में सक्षम नहीं होंगे, और इन्हें बंद करना पड़ेगा।
ऐसा लगता है कि सरकारी नियमों और कॉलेजों की अपनी मजबूरियों के बीच एक तरह की खींचतान चल रही है। आखिरकार छात्रों को दाखिला तो मिल ही जाएगा, मगर देखना होगा कि क्या भविष्य में उनके पास कोर्स करने के लिए उतने ही कॉलेज ऑप्शन्स मौजूद रहेंगे?
महाराष्ट्र के लगभग 467 कॉलेजों ने AICTE से इन कोर्सेज़ के लिए मंजूरी ले ली है। कुछ कॉलेजों ने तो कोर्स का नाम ही बदलने की तैयारी कर ली है ताकि उन्हें AICTE के नियमों का पालन ना करना पड़े।
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